Palash Biswas On Unique Identity No1.mpg

Unique Identity No2

Please send the LINK to your Addresslist and send me every update, event, development,documents and FEEDBACK . just mail to palashbiswaskl@gmail.com

Website templates

Zia clarifies his timing of declaration of independence

What Mujib Said

Jyoti basu is DEAD

Jyoti Basu: The pragmatist

Dr.B.R. Ambedkar

Memories of Another Day

Memories of Another Day
While my Parents Pulin Babu and basanti Devi were living

"The Day India Burned"--A Documentary On Partition Part-1/9

Partition

Partition of India - refugees displaced by the partition

Thursday, September 5, 2013

कब बदलेगी कोलकाता रेलवे टर्मिनस की द्वीप दशा?

कब बदलेगी कोलकाता रेलवे टर्मिनस की द्वीप दशा?


एक्सकैलिबर स्टीवेंस विश्वास​


कोलकाता रेलवे टर्मिनस हुए बरसों बीत गये, लेकिन वहां पहुंचने के संपर्क मार्ग अभीतक खुले नहीं हैं। अभी इस टर्मिनस का भरपूर इस्तेमाल सिऱ्फ इसलिे नहीं हो पा रहा है क्योंकि ट्रेनें बढ़ने पर इस टर्मिनस तक यात्रियों की आवाजाही कती सुगम नहीं है। सर्कुलर  रेलवे की ट्रेनें इकहरी लाइन के चलते बढ़ायी नहीं जा सकती। जिसतरह हावड़ा और सियालदह सीधे रेलमार्गों से जुड़ा है, वैसा कोलकाता टर्मिनस में है ही नहीं। सबसे नजदीकी स्टेशन विधाननगर है, कोलकाता से कोई यात्री सियालदह या हावड़ा जाकर ट्रेन पकड़ना चाहे तो उसे टैक्सीवाले को मनमाना भाड़ा चुकाना होगा। बस सेवाएं अब भी अपर्याप्त है।


हालत यह है कि नयी ट्रेनें कोलकाता टर्मिनस से चालू हो रही हैं। लेकिन दक्षिण और पश्चिम की ट्रेनें यहां से चालू करना संभव नहीं हुआ अभी तक। सियालदह से कई ट्रेनें कोलकाता टर्मिनस को स्थानांतरित करदी गयी हैं। लेकिन हावड़ा से कोलकाता में ट्रेनें स्थानांतरित करना लगभग असंभव है। जबकि इस टर्मिनस का निर्माण सियालदह के साथ साथ हावड़ा टर्मिनस में रेलयातायात जाम हटाने के लिए किया गया है।


हावड़ा जंक्शन पर बढ़ता दबाव

इसके बनने से सियलदह में एक्सप्रेस ट्रेनों और बारह बोगियों की ट्रेनें ज्यादा आसानी से आती जाती है। जबकि हावड़ा स्टेशन पर लगातार दबाव बढ़ता जा रहा है। एक्सप्रेस और लोकलट्रेनें लिलुआ और टिकियापाड़ा पहुंचने के बाद हिल ही नहीं पाती। हावड़ा से यह असंभव जाम हटाने की तत्काल जरुरत है।


भरोसा नदीपथ का


एक उम्मीद यह है कि हावड़ा के राजधानी बन जाने पर हुगली के आर पार नदी परिवहन सुधरने पर कोलकाता स्टेशन तक पहुंचने के रास्ते भी सुगम हो जायेंगे। इसके साथ ही शालीमार टर्मिनस यातायात की व्यवस्था चालू होने पर पूरी तरह चालू हो सकता है।


माझेरहाट टर्मिनस


सर्कुलर रेलवे की गरीबी के कारण ही माझेरहाट टरमिनस  अ चालू नहीं हो पाया है।बारिस में तो सर्कुसलर रेलवे में यातायात कहीं भी बाधित दो जाती है। सर्कुलर रेलवे के भरोसे माझेर हाट तो क्या कोलकाता टरमिनस से भी लंबी दूरी की ट्रेनें नहीं चलायी जा सकती।


सर्कुलर रेलवे


सर्कुलर रेलवे से आफिस यात्रियों को डालहौसी पहुचने की लहूलियत हो गयी है। लेकिन आफिस जाने के लिए लंच और मेट्रो ट्रेनें भी हैं। असल में सर्कुलर रेलवे की सबसे बड़ी उपयोगिता अक्सर यातायात जाम में फंसे उत्तर कोलकाता और खासतौरपर कलकतिया कारोबार केंद्र बड़ा बाजार इलाके ौर गोदमों वाले स्ट्रैंड रोड को रेलवे सेवा से जोड़कर सचल बनाने में ही। लेकिन आफिस टाइम के अलावा सर्कुलर रेलवे में सन्नाटा है। जिस वजह से बड़ाबाजार को न माझेर हाट से और न कोलकाता टर्मिनस के होने से कुछ ज्यादा फर्क पड़ा है। बड़ा बाजार अब भी पूरी तरह सड़क यातायात के भरोसे है।


हालत सुधरेगी शालीमार की


शिवपुर और मंदिरतला की जेटियों से बेहतर यातायात संभव हो तो शालीमार तक पहुंचने की जद्दोजहद भी कम हो जाये। वरना हावड़ा से सड़क के रास्ते शालीमार तकपहुंचने में जान निकल जाती है। कोना एक्सप्रेसवे और मुंबईदिल्ली रोड में बेहिसाब ट्राफिक जाम होने की वजह से उधर से भी शालीमार पहुंचना आसान नहीं है।


उल्टाडांगा अंडरपास


कोलकाता टर्मनस को कैनल सर्कुलर रोड के जरिये सीधे वीआईपी रोड से जोड़कर इसे उत्तर 24 परगना और दक्षिण 24 परगना के अलावा पूरे विधाननगर नगरनिगम इलाके से जोड़ने पर कोलकाता टर्मिनस की द्वीप दशा बदल सकती है। लेकिन इसके लिए सियालदह रेलवे लाइन मुख्य बाधा है। जिसे दूर करने के लिए उल्टाडांगा अंडरपास का निर्माण हुआ। लेकिन लगातार हो रही बारिश से पूजा से पहले इसे जनता के लिए खोलना असंभव है।


दुर्गोत्सव और दीवाली


ऐसा हो पाता तो कम से कम सियालदह पर अतिरिक्त भीड़ का दबाव काफी कम हो जाता। कोलकाता नगर निगम की ओर से इस अंडरपास का निर्माण हो रहा हैऔर निगम सूत्रों के मुताबिक दीवाली से पहले इस अंडरपास को चालू कर दिया जायेगा।




No comments:

Post a Comment