ममता ने दुर्घटना के कारणों पर संदेह व्यक्त किया पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले के सैंथिया रेलवे स्टेशन पर रविवार देर रात उत्तरबंगा एक्सप्रेस ने भागलपुर-रांची वनांचल एक्सप्रेस को पीछे से टक्कर मार दी जिससे कम से कम 61 लोगों की मौत हो गई और 150 घायल हो गए। हताहतों की संख्या अभी बढ़ने की आशंका है। दुर्घटना का कारण कथित तौर पर सिग्नल का उल्लंघन बताया जा रहा है। उत्तरबंगा एक्सप्रेस ने रांची जा रही भागलपुर-रांची वनांचल एक्सप्रेस को टक्कर मार दी जिससे सियालदह जाने वाली ट्रेन के चालक एमसी डे और सहायक चालक एनके मंडल की मृत्यु हो गई। रेल मंत्री ममता बनर्जी इस दुर्घटना को लेकर संशय में दिखी क्योंकि पश्चिम बंगाल में दो महीने में यह दूसरी दुर्घटना है। उन्होंने कहा, 'दुर्घटना को लेकर हमारे मन में अनेक प्रकार के संदेह हैं। जो कुछ भी हुआ है, वह सामान्य नहीं है।' उन्होंने मृतकों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपये, गंभीर रूप से घायलों को एक-एक लाख रुपये और अन्य घायल को 25000 रुपये की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की। ममता ने कहा कि दुर्घटना में मारे गए लोगों के परिवार के एक सदस्य को रेलवे में नौकरी दी जाएगी। 106-बीएसएफ बटालियन के पांच दलों को घटनास्थल के लिए रवाना कर दिया है। यह दल राष्ट्रीय आपदा त्वरित कार्रवाई बल का हिस्सा है। दुर्घटना में वनांचल एक्सप्रेस के गार्ड ए मुखर्जी की मृत्यु हो गई। कोलकाता से करीब 191 किलोमीटर दूर रेलवे के पूर्वी जोन में स्थित सैंथिया स्टेशन पर हुई टक्कर इतनी जोरदार थी कि वनांचल एक्सप्रेस के एक डिब्बे की छत और किनारे का एक हिस्सा प्लेटफार्म के करीब स्थित फुटओवर ब्रिज पर जा चढ़ा। अधिकारियों ने कहा कि मृतकों में 41 पुरुष, आठ महिलाएं और दो बच्चे शामिल हैं। पश्चिम बंगाल के पुलिस महानिदेशक भूपिंदर सिंह ने कहा, 'मृतकों की संख्या 61 हो चुकी है और दो या तीन शव निकाले जा सकते हैं जिससे मरने वालों की संख्या 61 पार हो सकती है।' सूरी और सैंथिया अस्पताल सूत्रों ने कहा कि 61 से अधिक शव आ चुके हैं जबकि 150 से अधिक घायल हुए हैं। 35 घायलों की हालत बहुत गंभीर है। इससे पहले पश्चिम बंगाल में ज्ञानेश्वरी एक्सप्रेस हादसे में 148 लोग मारे गए थे। दो महीनों के भीतर राज्य में हुई इस दूसरी रेल दुर्घटना का कारण बताने में रेल अधिकारी परहेज कर रहे हैं लेकिन कहा जा रहा है कि इस दुर्घटना का कारण उत्तरबंगा एक्सप्रेस के चालक द्वारा सिग्नल को नजरंदाज करना हो सकता है। कोलकाता में पूर्व रेलवे और दिल्ली में रेल बोर्ड के सूत्रों ने कहा कि उत्तरबंग एक्सप्रेस को सैंथिया में रुकना था। इस ट्रेन की गति बहुत तेज थी और सिग्नल को नजरंदाज करते हुए इसने वनांचल एक्सप्रेस को टक्कर मार दी। सैंथिया स्टेशन पर उत्तरबंगा एक्सप्रेस का आगमन और प्रस्थान का निर्धारित समय क्रमश: तड़के 1.38 और 1.39 बजे था। यह बात साफ नहीं हो पाई है कि इस स्टेशन पर उत्तरबंग एक्सप्रेस की गति इतनी तेज क्यों थी। वनांचल एक्सप्रेस अपने निर्धारित समय से पांच घंटा देरी से चल रही थी। अधिकारियों ने मरने वालों की संख्या बढ़ने की आशंका जताई है क्योंकि वनांचल एक्सप्रेस की दो अनारक्षित बोगियां और एक स्लीपर सह लगेज डिब्बा :एसएलआर: बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया है। क्षतिग्रस्त बोगियों को अलग कर दिया गया है। ट्रेनों को अपने गंतव्य स्टेशनों को रवाना कर दिया गया है। रेलवे ने जांच के आदेश दे दिए हैं। रेल संरक्षा आयुक्त [पूर्वी सर्किल] आर पी यादव हादसे की जांच करेंगे। उत्तरबंगा एक्सप्रेस को सैंथिया स्टेशन पर रुकना था। उत्तरबंग एक्सप्रेस का इंजन स्टेशन से रवाना हो रही वनांचल एक्सप्रेस के पिछले हिस्से में घुस गया। कुछ क्षतिग्रस्त बोगियां तो फुटओवर पर जा चढ़ी। रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष विवेक सहाय, रेलवे बोर्ड सदस्य [इलेक्ट्रिकल] सुदेश कुमार और रेल स्वास्थ्य सेवा महानिदेशक बीके रामटेके, पूर्वी रेलवे के महाप्रबंधक वीएन त्रिपाठी और अन्य वरिष्ठ अधिकारी सैंथिया के लिए रवाना हो गए हैं। रामपुरहाट, आसनसोल और वर्द्धमान से राहत और सहायता ट्रेनों को घटनास्थल के लिए रवाना कर दिया गया है। वनांचल एक्सप्रेस के क्षतिग्रस्त डिब्बों से शवों को निकालने के लिए हेवी ड्यूटी गैस कटर को पानागढ़ से लाया गया है। पश्चिम बंगाल के पुलिस महानिदेशक भूपिंदर सिंह ने कहा कि पुलिस वर्द्धमान मेडिकल कालेज अस्पताल से घायलों के लिए रक्त की व्यवस्था कर रहा है। खून की किल्लत के कारण हमें रक्तदान करने वालों की तलाश है। भारत की कुछ प्रमुख रेल दुर्घटनाएं नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले के सैंथिया स्टेशन पर आज तड़के उत्तरबंगा और वनांचल एक्सप्रेस ट्रेन की टक्कर में 49 लोग मारे गए और करीब 150 लोग घायल हो गए। प्रमुख ट्रेन हादसों का घटनाक्रम इस प्रकार है :- तीन दिसंबर 2003: पंजाब के सराय बंजारा और साधुगढ़ के बीच पटरी से उतरी मालगाड़ी को हावड़ा अमृतसर मेल ने टक्कर मारी। दुर्घटना में 46 मारे गए और 130 से अधिक घायल हुए। पांच जनवरी 2002: महाराष्ट्र में घातनादुर स्टेशन पर खड़ी एक मालगाड़ी को सिकंदराबाद मनमाड एक्सप्रेस ने टक्कर मारी जिससे 21 लोग मारे गए और 41 घायल हो गए। 23 मार्च 2002: मध्य प्रदेश में नरसिंहपुर के पास पटना से मुंबई जा रही लोकमान्य तिलक सुपरफास्ट एक्सप्रेस की 13 बोगियां पटरी से उतरी। इस हादसे में सात घायल हुए। 12 मई 2002: उत्तर प्रदेश में जौनपुर में नई दिल्ली पटना श्रमजीवी एक्सप्रेस पटरी से उतरी। 12 यात्री मारे गए। चार जून 2002: रेल क्रासिंग के पास कासगंज एक्सप्रेस और एक बस की टक्कर में 34 मारे गए। नौ सितंबर 2002: बिहार के औरंगाबाद जिले में हावड़ा दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस की एक बोगी धावे नदी में गिरी जिससे 100 यात्री मारे गए और 150 घायल हुए। 22 जून 2001: केरल के कोझिकोड के पास मंगलोर चेन्नई मेल कदालुंदी नदी में गिरी। इस हादसे में 40 लोग मारे गए। 10 सितंबर 2002: बिहार में कोलकाता नई दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस एक पुल के ऊपर पटरी से उतरी जिससे 120 लोग मारे गए। 22 जून 2003: महाराष्ट्र के सिंधुदुर्ग जिले में वैभववाड़ी स्टेशन को पार करने के बाद कारवार मुंबई सेंट्रल हालीडे स्पेशल ट्रेन पटरी से उतरी, 53 लोग मारे गए और 25 घायल। दो जुलाई 2003: आंध्र प्रदेश के वारंगल में एक ट्रेन का इंजन और उससे लगी दो बोगियां पुल से गिरी। 18 लोग मरे। 27 फरवरी 2004: पश्चिम बंगाल के दिनाजपुर में मानवरहित लेवल क्रासिंग पर गुवाहाटी जानेवाली कंचनजंगा एक्सप्रेस ने ट्रक को टक्कर मारी जिससे 30 लोग मारे गए। 15 दिसंबर 2004: पंजाब के जालंधर से करीब 40 किलोमीटर दूर एक स्थान पर अहमदाबाद जाने वाली जम्मू तवी एक्सप्रेस की एक लोकल ट्रेन की आमने सामने की टक्कर में 11 महिलाओं सहित 34 लोग मारे गए और 50 घायल हुए। 18 अगस्त, 2006: सिकंदराबाद रेलवे स्टेशन के निकट चेन्नई-हैदराबाद एक्सप्रेस की दो बोगियों में आग लगी। नौ नवंबर, 2006: पश्चिम बंगाल रेल दुर्घटना में 40 लोगों की मौत, 15 घायल। एक दिसंबर, 2006: बिहार के भागलपुर जिले में 150 साल पुराने पुल को तोड़ते समय एक हिस्सा ट्रेन पर गिरने से 35 लोगों की मौत हो गई जबकि 17 घायल हो गए। 14 नवंबर, 2009: दिल्ली जा रही मंडोर एक्सप्रेस जयपुर के निकट बस्सी में पटरी से उतर गई जिसका कुछ हिस्सा एसी बोगी में जा घुसा। दुर्घटना में सात लोगों की मौत हो गई जबकि 60 से अधिक घायल हो गए। 21 अक्टूबर, 2009: उत्तर प्रदेश में उत्तर रेलवे के मथुरा वृंदावन सेक्शन पर वंजारा में गोवा एक्सप्रेस ने मेवाड़ एक्सप्रेस को टक्कर मार दी जिससे 22 लोगों की मौत हो गई जबकि 26 अन्य घायल हो गए। दो जनवरी, 2010: घने कोहरे के कारण उत्तर प्रदेश में तीन ट्रेन दुर्घटनाओं में 15 लोगों की मौत हो गई। 16 जनवरी, 2010: उत्तर प्रदेश में घने कोहरे के कारण कालिंदी एक्सप्रेस और श्रमशक्ति एक्सप्रेस की टक्कर में तीन लोगों की मौत हो गई जबकि लगभग 12 अन्य घायल हो गए। 28 मई, 2010: नक्सलियों की तोड़फोड़ की कार्रवाई के चलते ज्ञानेश्वरी एक्सप्रेस पटरी से उतरी जिससे कम से कम 148 लोगों की मृत्यु हो गई। रेलवे की हेल्पलाइन नंबर:- पूर्वी रेलवे की ओर से सैंथिया स्टेशन पर दो हेल्पलाइन नंबर शुरू किए गए है। ये फोन नंबर है: 23503537 और 23503535। हावड़ा रेलवे स्टेशन पर भी फोन कर लोग अपने परिजनों की खरियत जान सकते है। हावड़ा के फोन नंबर है: 033-26382581/7412 और 26411416। इसी तरह से बिहार के भागलपुर स्टेशन का हेल्पलाइन नंबर 06412422433 और जमालपुर स्टेशन का नंबर 0634443101 है। प्रणब मुखर्जी (वित्त मंत्री) प्रणब मुखर्जी का कहना है कि दुर्घटना सिर्फ दुर्घटना होती है। उसका अनुमान कोई नहीं लगा सकता है। उनका कहना है कि इसके लिए किसी भी तरह से ममता बैनर्जी को जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता है। राम विलास पासवान (नेता, लोजपा)राम विलास पासवान ने कहा कि न तो ये कोई नक्सली हमला है, न और कोई दिक्कत है फिर भी इस तरह के हादसे होना रेलवे की लापरवाही दर्शाता है। इसकी न्यायक जांच होनी लालू प्रसाद यादव( नेता, आरजेडी) लालू प्रसाद यादव ने कहा कि ये बड़े ही अफसोस की बात है। इस तरह के रेल हादसे लगातार नहीं होने चाहिए। हादसे के दोषियों को सजा मिलनी चाहिए। तरुण विजय( बीजेपी, प्रवक्ता) तरुण विजय ने कहा कि ममता बनर्जी रेलवे को राजनीती का अड्डा न बनाएं। रेलवे देश के लोगों के लिए काम करता है, ममता वही काम करें। ममता ने जो शक जताया है की इस हादसे में किसी ग्रुप का हाथ हो सकता है, उसपर वो अपना रुख साफ करें शाहनवाज हुसैन (बीजेपी प्रवक्ता) शहनवाज हुसैन ने कहा कि ट्रेन में चलने से डर लगता है। ममता बनर्जी रेल पर ध्यान दें। ममता रेल और बंगाल दोनों में से एक को चुनें। ममता बनर्जी (रेलमंत्री) ममता बनर्जी ने कहा कि पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में हुए रेल हादसे को लेकर 'कुछ संदेह' हैं। यह दुखद घटना है। लोगों की जान बहुत महत्वपूर्ण है। हमें इस हादसे पर गहरा खेद है। दो महीने के भीतर पश्चिम बंगाल में यह दूसरा हादसा है। रेल मंत्री ममता बनर्जी ने पश्चिम बंगाल में पिछले दो महीने में हुए दूसरे बड़े रेल हादसे के कारणों पर संदेह व्यक्त किया है जबकि रेलवे ने इस हादसे में तोड़फोड़ की आशंका से इनकार नहीं किया. ममता ने कहा, ''मुझे इस दुर्घटना के कारणों पर संदेह है.'' उन्होंने कहा, ''हमें इस संबंध में कुछ संदेह है. जो भी हुआ है वह लापरवाही नहीं है. हम इसके लिए जिम्मेदार के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेंगे. इस संबंध में जांच से पूरी बात स्पष्ट हो जायेगी.'' रेलमंत्री से दुर्घटना की परिस्थितियों के बारे में पूछा गया था जिसमें 60 लोगों की मौत हो गई थी. ममता ने कहा, ''ट्रेन समय से 25 मिनट पहले कैसे पहुंच गई.'' उन्होंने कहा कि ट्रेन तेज रफ्तार से चल रही थी. इस बीच, रेल दुर्घटना पर पीड़ितों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं ने ममता बनर्जी पर मंत्रालय के काम पर जरूरी ध्यान नहीं देने का आरोप लगाया है. वहीं, पूर्वी रेलवे के महाप्रबंधक वी एन त्रिपाठी ने कहा, ''किसी भी बात से इनकार नहीं किया जा सकता. हो सकता है हमारे उपकरणों से छेड़छाड़ किया गया हो. यह सब जांच के बाद पता चलेगा.'' घोषणा किए जाने के बावजूद नहीं रूकी उत्तरबंग एक्सप्रेस सैंथिया रेलवे स्टेशन पर अधिकारियों ने लाउडस्पीकरों के जरिए उत्तरबंग एक्सप्रेस के चालक से बार बार अनुरोध किया लेकिन इस ओर ध्यान नहीं दिया गया. सैंथिया के सहायक स्टेशन मास्टर पुलक चक्रवर्ती ने कहा, ''हमने लाउडस्पीकरों के जरिए बार बार उत्तरबंग एक्सप्रेस के चालक को ब्रेक लगाने को कहा क्योंकि वनांचल एक्सप्रेस प्लेटफार्म संख्या चार से रवाना होने ही वाली थी.'' चक्रवर्ती ने कहा कि उत्तरबंग एक्सप्रेस उसी पटरी पर तेज रफ्तार से स्टेशन पर आ गयी जिस पर वनांचल एक्सप्रेस पहले से खड़ी थी हालांकि उसे ''होम सिग्नल'' नहीं दिया गया था. हॉकर सलाम शेख ने कहा कि उत्तरबंग एक्सप्रेस को स्टेशन पर रूकना था लेकिन वह काफी रफ्तार से स्टेशन पर आयी और वनांचल एक्सप्रेस को पीछे से टक्कर मार दी. कैबिन के एक कर्मचारी ने नाम उजागर नहीं करने की शर्त पर कहा कि उत्तरबंग एक्सप्रेस के चालक की गलती थी. नक्सली खतरे के मद्देनजर चिदंबरम, पिल्लै की सुरक्षा बढ़ी पिछले दिनों नक्सली हिंसा में आयी तेजी और सुरक्षाबलों द्वारा कई प्रमुख नक्सली नेताओं को मारे जाने के बाद केन्द्रीय गृह मंत्री और गृह सचिव की सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गयी है. सूत्रों ने बताया कि नक्सलियों की ओर से गृह मंत्री पी चिदंबरम और गृह सचिव जी के पिल्लै को खतरे के मद्देनजर उनकी सुरक्षा और मजबूत की गयी है. यह पूछने पर कि क्या हाल ही में पाकिस्तान के विदेश मंत्री द्वारा पिल्लै को निशाने पर लिये जाने और उसके बाद के घटनाक्रम के मद्देनजर सुरक्षा व्यवस्था कडी की गयी है, सूत्रों ने कहा कि ऐसी कोई बात नहीं है. वामपंथी उग्रवादियों की ओर से बढे हुए खतरे के मद्देनजर सुरक्षा कडी की गयी है. यह पूछने पर कि सुरक्षा का स्तर अब कौन सा किया गया है और कितने सुरक्षाकर्मी गृह मंत्री एवं गृह सचिव की सुरक्षा में तैनात किये गये हैं, सूत्रों ने और कोई ब्यौरा देने से इंकार किया. देश में ये भीमालेगांव धमाके के आरोपियों पर से नहीं हटेगा मकोकाहाईकोर्ट ने निचली अदालत के 31 जुलाई, 2009 के फैसले को रद्द कर दिया। 19:56 PM, Jul 19, 2010कश्मीर में मुठभेड़, लश्कर कमांडर मारा गयाजम्मू कश्मीर में लश्कर की हर बड़ी कार्रवाई में इसका हाथ समझा जाता है। 18:28 PM, Jul 19, 2010कृष्णा-कुरैशी काबुल में, 'मिलेंगे-मिलेंगे' नहीं!विदेश सचिव निरूपमा राव ने शनिवार को ही इस बात को खारिज कर दिया था कि काबुल में कृष्णा और कुरैशी के बीच कोई द्विपक्षीय बातचीत होगी। 17:45 PM, Jul 19, 2010पढ़ें: रेल हादसे पर किसने क्या कहालालू प्रसाद यादव ने कहा कि ये बड़े ही अफसोस की बात है। इस तरह के रेल हादसे लगातार नहीं होने चाहिए। 12:23 PM, Jul 19, 2010ममता राज में पहले भी हो चुके हैं कई रेल हादसेजब से ममता बनर्जी रेलमंत्री बनी हैं तब से अब तक कई रेल हादसे हो चुके हैं। 11:40 AM, Jul 19, 2010रेल हादसा: सैंथिया में राहत और बचाव में जुटी सेनासेना के इंजीनियरों और धातु काटने वाले विशेषज्ञों ने मौके पर मदद का काम तेजी से शुरू कर दिया है। 11:12 AM, Jul 19, 2010साइबर युद्ध से निपटने के लिए तैयार है सेनासेना के अधिकारियों का कहना है कि वे नई पीढ़ी के खतरों का सामना कर रहे हैं। 11:00 AM, Jul 19, 2010सैंथिया में रेल हादसे को लेकर 'कुछ संदेह': ममताघटनास्थल पर रवाना होने से पहले ममता ने कहा कि हमें कुछ संदेह है। हम सूचना एकत्रित कर रहे हैं। पूरा विवरण आ जाने दीजिए। 10:24 AM, Jul 19, 2010रेल हादसा: रेलवे ने शुरू की हेल्पलाइनसैंथिया रेलवे स्टेशन पर रविवार देर रात हुए हादसे के मद्देनजर रेलवे ने कई हेल्पलाइन नंबर शुरू किए हैं। 10:16 AM, Jul 19, 2010Video वीडियो देखें:वनांचल एक्सप्रेस और उत्तरबंग एक्सप्रेस की टक्कर में 60 की मौत 09:59 AM, Jul 19, 2010 Jul 18, 11:02 pm बठिंडा-आईआरसीटीसी के नियमों के आतंक से छटपटा रहे कांट्रेक्टरों की आवाज आखिरकार रेलमंत्री दरबार पहुंच ही गई। रेलवे पॉलिसी 2000 लागू होने के बाद से कांट्रेक्टरों पर गिरी गाज का नतीजा यह हुआ कि देश के बड़े स्टेशनों के कांट्रेक्टरों को एकजुट होना पड़ा। नई दिल्ली में राष्ट्रीय कार्यक्रम में 300 कांट्रेक्टरों के अलावा सांसदों व जानी मानी सोशल हस्तियां भी रेलवे पॉलिसी में बदलाव की पक्षधर नजर आई। सोशल हस्ती मेघा पाटेकर के साथ सांसद अबानी रॉय व मोहन सिंह, कांग्रेस वर्किंग कमेटी के सदस्य व पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री के बेटे अनिल शास्त्री तथा समाज सुधारक स्वामी अग्निवेश ने एकजुट होकर रेल मंत्रालय से रेल पॉलिसी 2010 लाने की बात कही, ताकि 60 हजार से अधिक लोगों के दाव पर लगे भविष्य को बर्बाद होने से बचाया जा सके। वहीं शाम को मेघा पाटेकर ने रेलमंत्री ममता बैनर्जी से मुलाकात कर अपना पक्ष भी रखा। बठिंडा सहित देश भर से आए कांट्रेक्टरों को संबोधित करते हुए मेघा पाटेकर ने कहा कि रेलवे को अपनी पॉलिसी में बदलाव करना इसलिए जरूरी है क्योंकि उनके साथ करीब एक लाख लोगों का भविष्य जुड़ा हुआ है। उन्होंने कहा कि रेलमंत्री को इस बात का जरूर ध्यान रखना चाहिए कि रेलवे के करोड़ों लोगों के लिए वैंडर एक बड़ी लाइफ लाइन का काम करते हैं। इनके टूटने से रेलवे को बहुत बड़ा नुकसान होगा। अगर आज इन्हें बचाने की कोशिश नहीं की गई तो भविष्य में हमें इसके गंभीर नतीजे भुगतने होंगे। सांसद अबानी रॉय ने कहा कि आज रेलवे में बड़ी प्राइवेट कंपनियां व चेन सिस्टम प्रवेश पाने की कोशिश कर रही हैं, लेकिन उनके आने के बाद देश का सबसे बड़ा विभाग एक जाल में उलझकर रह जाएगा। वहीं, बेरोजगारी बढ़ने के अलावा मानवता के रिश्तों में भी गिरावट आएगी। उन्होंने कहा कि रेलवे किराए में बढ़ौतरी की बात से इंकार करती है, लेकिन वैंडरों व कांट्रेक्टरों को बाहर भेजकर पैसे कमाना सही नहीं कहा जा सकता। कांग्रेस वर्किंग कमेटी के सदस्य अनिल शास्त्री ने कहा कि वैंडरों व कांट्रेक्टरों को संघर्ष सही है तथा इस बात को वह पार्टी के समक्ष जरूर रखेंगे। वहीं चिंतक स्वामी अग्निवेश ने कहा कि आईआरसीटीसी पर लगाम कसना जरूरी है। उन्हें टिकटिंग आदि के काम से रोका जाना चाहिए। वहीं, बठिंडा से रैली में शामिल हुए कांट्रेक्टर अशोक सैनी, शिवपाल व अश्वनी मल्होत्रा ने जागरण से बात करते हुए कहा कि उन लोगों को रेलवे के साथ काम करते हुए कई साल हो गए हैं। इस तरह से इस बिजनेस से बाहर होने से उनके ऊपर रोजगार बड़ी समस्या बन गया है। उन्होंने उम्मीद जताई कि इस अभियान से रेलवे जल्द नई पॉलिसी 2010 को लागू करेगा, ताकि उनका भविष्य सुरक्षित रह सके। परिवारों की रोजी रोटी चलाने में उन्हें असमर्थ नहीं होना पड़े। पटरियों पर 15 महीने में खत्म हो गईं 250 जानेंदैनिक भास्कर - 1 घंटा पहले नई दिल्ली. ममता बनर्जी के रेल मंत्रालय संभालने के बाद से बीते 15 महीनों में हुए रेल हादसों में करीब 250 लोग मारे जा चुके हैं। मई 2009 से अब तक करीब एक दर्जन रेल मंत्रालय करीब एक दर्जन रेल हादसों का गवाह बन चुका है। इनमें ममता बनर्जी के गृह राज्य पश्चिम बंगाल के बीते 51 दिनों में हुए दो बड़े रेल हादसे भी शामिल हैं। इन हादसों में अधिकांश ट्रेनों के आपस में टकराने से हुए हैं। बीती 28 मई को पश्चिम बंगाल के मिदनापुर में ज्ञानेश्वरी ... ट्रेन हादसे पर मुझे शक हैः ममताडी-डब्लू वर्ल्ड - 1 घंटा पहले भारत की रेल मंत्री ममता बनर्जी ने शक जताते हुए कहा है कि जिस तरह से पश्चिम बंगाल में ट्रेन दुर्घटना हुई है, उससे उन्हें शक हो रहा है. दो महीने में राज्य में दूसरी बड़ी ट्रेन दुर्घटना हुई, जिसमें 61 लोगों की मौत हो गई. दुर्घटनाग्रस्त इलाके का दौरा करने से पहले ममता बनर्जी ने कोलकाता में रिपोर्टरों से कहा, "दुर्घटना की वजह के प्रति मुझे शक हो रहा है. हमारे दिमाग में कुछ शक है. जो कुछ हुआ है, वह साधारण नहीं है. जो लोग भी इसके पीछे ... रेल हादसा : पश्चिम बंगाल में आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरूखास खबर - 1 घंटा पहले कोलकाता। बीरभूम जिले के सैंथिया रेलवे स्टेशन पर हुई रेल दुर्घटना के बाद पश्चिम बंगाल में राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है। राज्य में सत्ताधारी वाम मोर्चा और विपक्षी तृणमूल कांग्रेस, दुर्घटना के लिए एक-दूसरे पर आरोप मढ़ रहे हैं। वाम मोर्चा के घटकों, माक्र्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा), रिवल्यूशनरी सोशलिस्ट पार्टी (आरएसपी) ने रेल मंत्री और तृणमूल कांग्रेस की अध्यक्ष ममता बनर्जी की यात्रियों की सुरक्षा ... रेल हादसा (प्रतिक्रिया) : ममता पर विपक्ष का हमलाThat's Hindi - 1 घंटा पहले भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने रेल हादसे की उच्च स्तरीय जांच की मांग करते हुए कहा कि ममता को बिना मंत्रालय का मंत्री होना चाहिए। भाजपा के प्रवक्ता तरुण विजय ने सोमवार को पूछा कि बार-बार हो रही रेल दुर्घटनाओं को रोकने के लिए रेल मंत्रालय क्यों नहीं कदम उठा रहा है। विजय ने कहा कि ममता बनर्जी पश्चिम बंगाल की राजनीति के लिए रेल मंत्रालय का उपयोग कर रहीं हैं, इसलिए बेहतर होगा कि उनको बिना मंत्रालय का मंत्री बना दिया जाए। ... पिछले दो दशक के 43 प्रमुख रेल हादसेखास खबर - 2 घंटे पहले नई दिल्ली। पिछले दो दशकों के दौरान 1990 से अब तक दुर्घटनाओं और आतंकवादी हमलों सहित कम से कम 43 रेल त्रासदियां हो चुकी हैं। देश में प्रतिदिन 19000 रेलगाडियां चलती हैं। सोमवार त़डके पश्चिम बंगाल के सैंथिया स्टेशन पर सियालदह जाने वाली उत्तरबंगा एक्सप्रेस के भागलपुर-रांची वनांचल एक्सप्रेस से टकरा जाने से 60 यात्रियों की मौत हो गई और 150 से ज्यादा घायल हो गए। यहां पिछले दो दशक के दौरान हुई रेल त्रासदियों का ब्योरा दिया जा रहा है। ... रेल हादसा : ममता ने जताया साजिश की आशंकाखास खबर - 1 घंटा पहले कोलकाता। रेल मंत्री ममता बनर्जी ने पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में हुए रेल हादसे के पीछे साजिश की आशंका जाहिर की है। इस हादसे में 60 लोग मारे गए हैं। सैंथिया स्टेशन पर घटनास्थल का दौरा करने और सूरी के जिला अस्पताल में घायलों से मिलने के बाद ममता ने कहा कि बचाव कार्य करीब-करीब खत्म हो गया है। बनर्जी ने पत्रकारों से कहा, ""दुर्घटना कैसे हुआ इसको लेकर मेरे दिमाग में कुछ शंकाएं हैं। विस्तृत जांच के बाद हम इस बारे में बातचीत ... रेल हादसे में 60 की मौत, मुआवजा घोषित (लीड-5)That's Hindi - 2 घंटे पहले रेल मंत्री ने घटनास्थल के लिए रवाना होने से पहले कहा, "यह दुखद घटना है। लोगों की जान बहुत महत्वपूर्ण है। हमें इस हादसे पर गहरा खेद है। दो महीने के भीतर पश्चिम बंगाल में यह दूसरा हादसा है।" ममता ने कहा कि मारे गए प्रत्येक व्यक्ति के निकट संबंधी को पांच लाख रुपये मुआवजा और परिवार के एक व्यक्ति को नौकरी दी जाएगी। गंभीर रूप से घायल व्यक्ति को एक लाख रुपये और मामूली रूप से घायल को 25000 रुपये दिए जाएंगे। इस हादसे के मद्देनजर ... रेल हादसा : पश्चिम बंगाल ने कीThat's Hindi - 1 घंटा पहले कोलकाता, 19 जुलाई (आईएएनएस)। पश्चिम बंगाल सरकार ने रविवार देर रात बीरभूम जिले के संथिया स्टेशन पर हुए रेल हादसे में मारे गए प्रत्येक व्यक्ति के परिजनों को तीन-तीन लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की। राज्य के वित्त मंत्री असीम दासगुप्ता ने कहा कि घायलों के इलाज का पूरा खर्च भी राज्य सरकार उठाएगी। बीरभूम जिले मेंतेज गति से आ रही उत्तरबंगा एक्सप्रेस ने सैंथिया रेलवे स्टेशन पर खड़ी भागलपुर-रांची वनांचल एक्सप्रेस को पीछे ... 'सैंथिया रेल हादसे की न्यायिक जांच हो'प्रभात खबर - 56 मिनट पहले पटना : लोक जनशक्ति पार्टी के प्रमुख राम विलास पासवान ने पश्चिम बंगाल में हुई सैंथिया रेल दुर्घटना की आज न्यायिक जांच की मांग की और इस हादसे के लिए रेल मंत्री ममता बनर्जी को दोषी ठहराया. पूर्व रेल मंत्री लालू प्रसाद ने सैंथिया रेल हादसे, जिसमें 60 लोग मारे गये को एक गंभीर चूक का मामला बताया. प्रसाद ने कहा कि मुङो समझ में नहीं आ रहा है कि इस प्रकार के हादसे क्यों हो रहे हैं. वहीं पासवान ने कहा, यह रेलवे की ओर से गंभीर चूक का एक ... चिदंबरम को नहीं पची ममता की बातदैनिक भास्कर - 1 घंटा पहले नई दिल्ली. गृह मंत्रालय ने पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले के सैंथिया स्टेशन पर हुई रेल दुर्घटना में किसी साजिश होने से इंकार किया है। सूत्रों के मुताबिक मंत्रालय रेल मंत्री ममता बनर्जी की इस आशंका को निर्मूल बताया है जिसमें उन्होंने इसके पीछे किसी साजिश की आशंका जताई थी। मंत्रालय ने कहा है कि इस हादसे के पीछे सिग्नल फेल होना हो सकता है। इसके पहले रेल मंत्री ममता बनर्जी ने आज उत्तर बंग एक्सप्रेस और वनांचल एक्सप्रेस के बीच ... ममता ने दुर्घटना के कारणों पर संदेह व्यक्त कियाआज तक - 2 घंटे पहले रेल मंत्री ममता बनर्जी ने पश्चिम बंगाल में पिछले दो महीने में हुए दूसरे बड़े रेल हादसे के कारणों पर संदेह व्यक्त किया है जबकि रेलवे ने इस हादसे में तोड़फोड़ की आशंका से इनकार नहीं किया. ममता ने कहा, ''मुझे इस दुर्घटना के कारणों पर संदेह है.'' उन्होंने कहा, ''हमें इस संबंध में कुछ संदेह है. जो भी हुआ है वह लापरवाही नहीं है. हम इसके लिए जिम्मेदार के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेंगे. इस संबंध में जांच से पूरी बात स्पष्ट हो जायेगी. ... पश्चिम बंगाल रेल हादसे में 60 की मौत, 157 घायलमेरी खबर.कोम - 25 मिनट पहले सैंथिया: पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले मेंरविवार देर रात करीब 2.15 बजे उत्तरबंगा एक्सप्रेस ने सैंथिया रेलवे स्टेशन पर खड़ी भागलपुर-रांची वनांचल एक्सप्रेस को पीछे से टक्कर मार दी, जिसमें रेलवे के तीन कर्मचारियों सहित 60 लोगों की मौत हो गई और कम से कम 150 घायल हो गए। राज्य में पिछले दो माह के दौरान यह दूसरा हादसा है। रेल मंत्री ममता बनर्जी ने पीड़ित परिवारों के लिए मुआवजे की घोषणा की है। बनर्जी ने दुर्घटना के पीछे साजिश की आशंका ... इस दशक के बड़े रेल हादसेदैनिक भास्कर - 9 घंटे पहले सैंथिया में आज देर रात हुए रेल हादसे ने एक बार फिर रेल सफर की सुरक्षा पर सवाल खड़े कर दिए हैं। पश्चिम बंगाल में पिछले दो महीने में हुआ यह दूसरा बड़ा रेल हादसा है। रेल मंत्री को तो इस हादसे में सजिश तक की बू आ रही है। लेकिन हमारे देश में रेल सफर कभी सुरक्षित नहीं रहा है। आइये नजर डालते हैं पिछले एक दशक में हुए देश के बड़े रेल हादसों पर 22 जून 2001: केरल के कोझिकोड के पास मंगलोर चेन्नई मेल कदालुंदी नदी में गिरी। इस हादसे में 40 लोग ... रेल हादसा : अपनों की खैरियत जानने को परेशान रहे परिजनखास खबर - 4 घंटे पहले कोलकाता। पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में रविवार देर रात हुए रेल हादसे के बाद लोग अपनों की खैरियत जानने के लिए एक स्टेशन से दूसरे स्टेशन तक संपर्क साधते रहे लेकिन ज्यादातर को मायूसी हाथ लगी। कंचन डे नाम के एक शख्स ने बताया, ""मेरी सास माला रॉय और पत्नी कूचबिहार से लौट रहे थे। वे उत्तरबंगा एक्सप्रेस में थे। परंतु मैं नहीं जानता कि वे जीवित हैं भी या नहीं।"" अपनी बेटी के बारे में जानने के लिए परेशान फूलमती दत्ता ने कहा, ... ममता को सैंथिया रेल हादसे पर है कुछ संकाखास खबर - 6 घंटे पहले कोलकाता। रेल मंत्री ममता बनर्जी का कहना है कि पश्चिम बंगाल के वीरभूम जिले में हुए रेल हादसे को लेकर उनके मन में कई शंकाएं, वह अधिक जानकारी का इंतजार कर रही हैं। इस हादसे में अब तक 60 लोगों के मारे जाने की पुष्टि हो चुकी है। दुर्घटना की खबर मिलते ही घटनास्थल के लिए रवाना हुई ममता बनर्जी ने कोलकाता पहुंचने के बाद संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि हमें कुछ संदेह है। हम सूचना एकत्रित कर रहे हैं। पूरा विवरण आ जाने दीजिए। ... रेल हादसा : गृह मंत्रालय ने 5 बचाव दल भेजेखास खबर - 5 घंटे पहले नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में रविवार देर रात हुए रेल हादसे के मद्देनजर केंद्रीय गृह मंत्रालय ने राष्ट्रीय आपदा राहत बल के पांच दलों को घटनास्थल पर भेजा है। मंत्रालय की ओर से मौके पर भेजे गए पांच दलों में कुल 140 बचावकर्मी शामिल हैं। इनमें से तीन बचाव दल मौके पर पहुंच चुके हैं जबकि दो जल्द पहुंचने वाले हैं। गौरतलब है कि बीरभूम जिले के सैंथिया रेलवे स्टेशन पर रविवार देर रात उत्तरबंगा एक्सप्रेस ने भागलपुर-रांची ... बिना मंत्रालय की मंत्री रहें ममता : भाजपाएनडीटीवी खबर - 6 घंटे पहले भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में रविवार देर रात हुए रेल हादसे की उच्च स्तरीय जांच की मांग करते हुए कहा कि ममता बनर्जी को बिना मंत्रालय का मंत्री होना चाहिए। भाजपा के प्रवक्ता तरुण विजय ने सोमवार को पूछा कि बार-बार हो रही रेल दुर्घटनाओं को रोकने के लिए रेल मंत्रालय क्यों नहीं कदम उठा रहा है। उन्होंने कहा कि ममता बनर्जी पश्चिम बंगाल की राजनीति के लिए रेल मंत्रालय का उपयोग कर रहीं हैं, ... रेल हादसाःमृतकों के लिए मुआवजे का एलानदैनिक भास्कर - 10 घंटे पहले सैंथिया. पश्चिम बंगाल के सैंथिया रेलवे स्टेशन पर आज देर रात दो बजे के करीब हुए भीषण हादसे में मृतकों की संख्या बढ़कर 50 से अधिक हो गई है और 100 से अधिक लोग घायल हैं। रेल मंत्री ममता बनर्जी हालात का जायजा लेने के लिए घटनास्थल पर पहुंची और मृतकों के परिवारजनों को पांच-पांच लाख रुपए मुआवजा और परिवार के एक सदस्य को रेलवे में नौकरी देने की घोषणा की। रेलमंत्री ने गंभीर रूप से घायलों को एक लाख रुपए और मामूली घायलों के लिए भी 25-25 हजार ... रेल हादसा : पासवान ने न्यायिक जांच की मांग कीखास खबर - 7 घंटे पहले पटना। पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में हुए रेल हादसे पर पूर्व रेल मंत्री एवं लोक जनशक्ति पार्टी (लोजपा) के अध्यक्ष रामविलास पासवान ने दुख प्रकट करते हुए इस घटना की न्यायिक जांच करवाने की मांग की है। इस हादसे में 50 लोग मारे गए। पासवान ने सोमवार को पटना हवाई अड्डे पर पत्रकारों से चर्चा करते हुए रेल मंत्री ममता बनर्जी पर आरोप लगाया कि वह रेल मंत्रालय के कार्यों को गंभीरता से नहीं ले रही हैं। उन्होंने कहा कि ममता पश्चिम बंगाल ... रेल हादसा : ममता ने मुआवजे की घोषणा कीखास खबर - 7 घंटे पहले कोलकाता। रेल मंत्री ममता बनर्जी ने पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में रविवार देर रात हुए रेल हादसे में मारे गए लोगों के परिजनों और घायलों के लिए मुआवजे की घोषणा की है। घटनास्थल पर रवाना होने से पहले सोमवार को ममता ने संवाददाताओं से कहा कि मारे गए प्रत्येक व्यक्ति के निकट संबंधी को पांच लाख रूपये दिए जाएंगे। गंभीर रूप से घायल को एक लाख रूपये और मामूली रूप से घायल को 25000 रूपये दिए जाएंगे। ममता ने इस हादसे में 49 लोगों के मारे ... ममता को संदेह, दिये जांच के आदेशप्रभात खबर - 6 घंटे पहले कोलकाताः रेल मंत्री ममता बनर्जी ने कहा है कि पं बंगाल में हुए रेल दुर्घटना पर कुछ संदेह है. ममता ने पत्रकारों को बताया कि ''जब मैं घटनास्थल पर जा रही थी तो हमारे दिमाग में घटना के प्रति कुछ शंकाएं उठ रही थी''. साथ ही कहा कि ''हम और अधिक सूचनाओं के बारे में जानकारी हासिल करने की कोशिश कर रहें हैं''. उन्होंने कहा कि ''जो भी हुआ वह आकस्मिक नहीं है और इसके पीछे जो भी होंगे उसके खिलाफ सख्त कदम उठाये जाएंगे''. उन्होंने घटना को दुखद करार ... हादसे पर गरमाई राजनीतिPatrika.com - 6 घंटे पहले नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल में दो ट्रेनों की भीषण टक्कर के बाद हुए हादसे को लेकर राजनीति तेज हो गई है। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और वामदलों ने जहां हादसे के लिए रेल मंत्रालय को जिम्मेदार ठहराते हुए नैतिक आधार पर रेल मंत्री के इस्तीफे की मांग की है। वहीं राजद, जदयू और लोजपा ने भी हादसे के पीछे रेलवे की लापरवाही को बड़ा कारण करार दिया है। पूर्व रेल मंत्री और राजद अध्यक्ष लालू यादव ने रेलवे अधिकारियों की लापरवाही को हादसे का ... ममता के राज में रेल हादसों पर एक नज़रसमय - 8 घंटे पहले पश्चिम बंगाल के बीरभूम के सेंथिया रेलवे स्टेशन पर रविवार की देर रात उत्तरबंगा एक्सप्रेस ने वनांचल एक्सप्रेस को पीछे से टक्कर मार दी। इस हादसे में 70 से अधिक लोगों की मौत हो गई, वहीं 150 से ज्यादा लोग घायल हो गए। ममता बनर्जी के रेल मंत्री बनने के बाद एक के बाद एक हादसे होते ही जा रहे हैं। इस बात को अब उनके विरोधी भी जोर-शोर से उठा रहे हैं। 14 फरवरी 2009: रेल बजट के दिन ही हावड़ा से चेन्नई जा रही कोरोमंडल एक्सप्रेस के 14 डिब्बे पटरी ... रेल हादसे पर राजनीति, लालू ने रेल-मंत्रालय को कोसाTarakash - 6 घंटे पहले पश्चिम बंगाल के बीरभूम में हुए रेल हादसे को लेकर पूर्व केंद्रीय रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव ने रेल मंत्रायलय को जिम्मेदार ठहराया. उन्होने कहा कि रेल मंत्रायल को तुरंत इस तरह के हादसों पर रोक लगाते हुए जिम्मेदार लोगों पर सख्त कानूनी कार्यवाही करनी चाहिए. वहीं पूर्व केंद्रीय रेल मंत्री रामविलास पासावन ने हादसे पर दुख व्यक्त करते हुए कहा कि ममता बनर्जी को यह तय करना होगा कि वे रेल मंत्री बनी रहना चाहती है या फिर पश्चिम ... ममता राज में पहले भी हो चुके हैं कई रेल हादसेIBN Khabar - 8 घंटे पहले नई दिल्ली। जब से ममता बनर्जी रेलमंत्री बनी हैं तब से अब तक कई रेल हादसे हो चुके हैं। होने वाले हादसे रेल मंत्रालय की क्षमता पर सवालिया निशान लगाते नजर आते हैं। उत्तर प्रदेश में उत्तर रेलवे के मथुरा वृंदावन सेक्शन पर वंजारा में गोवा एक्सप्रेस ने मेवाड़ एक्सप्रेस को टक्कर मार दी जिससे 22 लोगों की मौत हो गयी जबकि 26 अन्य घायल हो गए। रेल बजट के दिन ही दिल्ली जा रही मंदोर एक्सप्रेस जयपुर के निकट बस्सी में पटरी से उतर गई थी। ... पढ़ें: रेल हादसे पर किसने क्या कहाIBN Khabar - 8 घंटे पहले प्रणब मुखर्जी का कहना है कि दुर्घटना सिर्फ दुर्घटना होती है। उसका अनुमान कोई नहीं लगा सकता है। उनका कहना है कि इसके लिए किसी भी तरह से ममता बैनर्जी को जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता है। राम विलास पासवान ने कहा कि न तो ये कोई नक्सली हमला है, न और कोई दिक्कत है फिर भी इस तरह के हादसे होना रेलवे की लापरवाही दर्शाता है। इसकी न्यायक जांच होनी लालू प्रसाद यादव ने कहा कि ये बड़े ही अफसोस की बात है। इस तरह के रेल हादसे लगातार नहीं ... देश की कुछ बड़ी रेल दुर्घटनाएंसमय - 10 घंटे पहले भारत में रेल नेटवर्क दुनिया के सबसे बड़े नेटवर्क में से एक है। भारतीय ट्रेनों में हर दिन सवा करोड़ से ज्यादा लोग सफर करते हैं। एक अनुमान के मुताबिक देश में हर साल करीब 300 छोटे-बड़े रेल हादसे होते हैं। कुछ बड़ी रेल दुर्घटनाओं पर एक नजर: 28 मई 2010: पश्चिम बंगाल के मिदनापुर इलाके में फिशप्लेट उखाड़े जाने की एक घटना के बाद ट्रेन के कुछ डिब्बे पटरी से उतर गए। इस हादसे में करीब 100 से अधिक लोगों की मौत हुई थी और 200 से अधिक लोग घायल हुए ... रेल हादसा: सैंथिया में राहत और बचाव में जुटी सेनाIBN Khabar - 9 घंटे पहले नई दिल्ली। सेना के जवान पश्चिम बंगाल के बीरभूम में सोमवार तड़के हुई रेल दुर्घटना में यात्रियों की राहत एवं बचाव के काम में जुट गए हैं। सेना के इंजीनियरों और धातु काटने वाले विशेषज्ञों ने मौके पर पहुंच कर हादसे के शिकार लोगों की मदद का काम तेजी से शुरू कर दिया है। पूर्वी क्षेत्र में रक्षा मंत्रालय के मुख्य प्रवक्ता महेश उपासनी ने टेलीफोन पर बताया कि सेना के 7 अधिकारी और 106 जवान पानागढ़ और कचरापाड़ा से घटना की सूचना मिलते ... रेल हादसा:ममता घटनास्थल के लिए रवानासमय - 11 घंटे पहले पश्चिम बंगाल के बीरभूम ट्रेन हादसे के बाद रेल मंत्री ममता बनर्जी दिल्ली से घटना स्थल के लिए रवाना हो गई हैं। पश्चिम बंगाल के बीरभूम के सेंथिया रेलवे स्टेशन पर उत्तरबंगा एक्सप्रेस ने वनांचल एक्सप्रेस को पीछे से टक्कर मार दी। इस हादसे में 70 लोगों की मौत हो गई, वहीं 100 से ज्यादा लोग घायल हो गए हैं। अब तक 55 लोगों के शव निकाले जा चुके हैं। ट्रेन हादसे के बाद राहत और बचाव कार्य जारी है। रेल मंत्री ममता बनर्जी दिल्ली से घटना स्थल ... घटनास्थल से डर कर लौटीं ममतासमय - 6 घंटे पहले पश्चिम बंगाल के बीरभूम में हुए रेल हादसे के बाद सोमवार को रेल मंत्री ममता बनर्जी घटनास्थल पर पहुंची, लेकिन लोगों के गुस्से को देखते हुए वह ट्रेन से बाहर नहीं आईं। ममता स्पेशल ट्रेन से हादसे वाली जगह पर पहुंचीं थीं। लेकिन लोगों के गुस्से को देखते हुए वह ट्रेन के बाहर आने की हिम्मत नहीं कर पाई। बीरभूम में लोग ममता विरोधी नारे लगा रहे थे। साथ ही लोगों में काफी आक्रोश भी था। लोगों के गुस्से को देखते हुए ममता प्लेटफार्म पर ... |
19 जुलाई , 2010 |
कोलकाता। बीरभूम जिले के सैंथिया रेलवे स्टेशन पर हुई रेल दुर्घटना के बाद पश्चिम बंगाल में राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है। राज्य में सत्ताधारी वाम मोर्चा और विपक्षी तृणमूल कांग्रेस, दुर्घटना के लिए एक-दूसरे पर आरोप मढ़ रहे हैं। वाम मोर्चा के घटकों, माक्र्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा), रिवल्यूशनरी सोशलिस्ट पार्टी (आरएसपी) ने रेल मंत्री और तृणमूल कांग्रेस की अध्यक्ष ममता बनर्जी की यात्रियों की सुरक्षा का पर्याप्त ध्यान न देने के लिए आलोचना की है। माकपा नेता श्यामल चक्रबर्ती ने कहा, ""रेल मंत्री यात्रियों की सुरक्षा पर पर्याप्त ध्यान नहीं दे रही हैं। वह नई रेलगाç़डयों को हरी झंडी दिखाने में व्यस्त हैं। यात्रियों की सुरक्षा कहां हैक्"" लोकसभा में माकपा के नेता और रेल सलाहकार समिति के पूर्व अध्यक्ष बासुदेव आचार्य ने बनर्जी पर जमकर हमला किया और मांग की कि बनर्जी को दुर्घटना की जिम्मेदारी लेनी चाहिए। आचार्य ने कहा, ""उन्होंने यात्रियों की सुरक्षा और हिफाजत को उतना महत्व नहीं दिया है। उन्हें जिम्मेदारी लेनी चाहिए। मुझे याद है कि गैसाल रेल दुर्घटना (2 अगस्त, 1999) के बाद तत्कालीन रेल मंत्री नीतीश कुमार ने अपना इस्तीफा दे दिया था।"" आरएसपी नेता और राज्य के मंत्री क्षिति गोस्वामी ने कहा, ""यात्रियों की सुरक्षा का प्राथमिकता के आधार पर ध्यान रखना चाहिए। यह बहुत दुखद है कि पश्चिम बंगाल में दो महीने के भीतर दो रेल दुर्घटनाएं हुई।"" दूसरी ओर बनर्जी ने इस मामले में किसी साजिश का संकेत दिया है। दुर्घटनास्थल का दौरा करने के बाद उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ""दुर्घटना कैसे हुई, इसे लेकर मेरे मन में कुछ संदेह है। हम विस्तृत जांच के बाद इसके बारे में बात करेंगे।"" यह पूछे जाने पर कि क्या वह दुर्घटना की केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) से जांच कराना चाहेंगी, बनर्जी ने कहा, ""इसके बारे में मैं विस्तृत जांच पूरी हो जाने के बाद आपको बताऊंगी। हमें यह समझना जरूरी है कि ज्ञानेश्वरी दुर्घटना के दो महीने के भीतर कैसे यह दुर्घटना हुई।"" बनर्जी ने दुर्घटना के पीछे राजनीतिक कारणों की ओर इशारा करते हुए कहा, ""ज्ञानेश्वरी दुर्घटना, 30 मई के स्थानीय निकाय चुनाव के दो दिनों पहले घटी थी।"" इसके पहले दुर्घटना स्थल के लिए रवाना होते समय बनर्जी ने संवाददाताओं से कहा था, ""हम सूचना की तलाश में हैं। हमें फिलहाल विवरण लेने दें। जो कुछ हुआ है, वह कोई सामान्य बात नहीं है। हम आवश्यक कार्रवाई करेंगे। इस दुर्घटना के पीछे जो भी होगा, हम उसके खिलाफ सख्त कदम उठाएंगे।"" तृणमूल नेता और केंद्रीय मंत्री मुकुल रॉय कुछ ज्यादा ही आक्रामक दिखे। रॉय ने कहा, ""हमारे राजनीतिक कार्यक्रमों के पहले हमेशा कोई रेल दुर्घटना घटती है। पिछली बार ज्ञानेश्वरी दुर्घटना के दौरान नगर निकाय के चुनाव दरवाजे पर दस्तक दे रहे थे। अब 21 जुलाई को हमारी राजनीतिक सभा (तृणमूल की वार्षिक शहीद दिवस रैली) है, तो उसके पहले फिर रेल दुर्घटना घटी है।"" |
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http://www.khaskhabar.com/west-bengal-train-accident-072010192168348693.htmlपटरियों पर 15 महीने में खत्म हो गईं 250 जानेंबीते एक साल के दौरान हुए प्रमुख रेल हादसे बीती 28 मई को पश्चिम बंगाल के मिदनापुर में ज्ञानेश्वरी एक्सप्रेस हादसा हुआ था जिसमें 148 लोगों की जान चली गई थी। 4 जून, 2010 तमिलनाडु के कोयम्बटूर में कोयम्बटूर-मेट्टूपलायम विशेष ट्रेन ने एक मिनी बस को टक्कर मार दी, जिससे पांच लोगों की मौत हो गई। 16 जनवरी 2010 को उत्तर प्रदेश के ही टुंडला के निकट आपस में भिड़ गईं। इस दुर्घटना में तीन लोग मारे गए। 14 नवंबर, 2009 को जयपुर के पास हुई मांडोर एक्सप्रेस दुर्घटना में 7 लोग मारे गए। इस साल की शुरुआत में 2 जनवरी का दिन रेलवे के लिए बेहद दुखद रहा जब उत्तर प्रदेश में तीन रेल दुघर्टनाएं हुईं। इनमें पांच ट्रेन आपस में टकरा गईं और 15 लोग मारे गए। इन दुघटनाओं के लिए कोहरे को जिम्मेदार ठहराया गया। इनमें पहली दुर्घटना इटावा, दूसरी कानपुर और तीसरी प्रतापगढ़ में हुई। 21 अक्टूबर, 2009 को मथुरा के पास गोवा एक्सप्रेस और मेवाड़ एक्सप्रेस की टक्कर में 22 लोग मारे गए। रेलों के पटरी से उतरने की घटनाएं 18 जून, को कर्नाटक के कोप्पल में रेलवे क्रासिंग पर रोड रोलर से टकराने के बाद अमरावती एक्सप्रेस पटरी से उतरी। 25 मई, 2010 को दिल्ली-गुवाहाटी राजधानी एक्सप्रेस बिहार के नौगछिया के निकट पटरी से उतरी। 3 जनवरी, 2010 को असम में अरुणाचल प्रदेश एक्सप्रेस पटरी से उतरी। 1 नवंबर, 2009 को पुणे के पास मैसूर-अजमेर एक्सप्रेस पटरी से उतरी। भारत
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Palash Biswas
Pl Read:
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