By चन्द्रशेखर करगेती
गुरूजी जुगाड़ तंत्र अब भी सक्रिय है !
निदेशक माध्यमिक शिक्षा, उत्तराखण्ड, देहरादून के कार्यालय से सूचना अधिकार में प्राप्त दस्तावेजी सूचना के आधार पर फिर जुगाड़ तंत्र के बेहतर ढंग से सक्रिय होने की जानकारी आज पुख्ता हो गयी है !
निदेशालय में बैठे जुगाड़ तन्त्र को बढ़ावा देनें वाले अधिकारी किसी भी शिक्षक का नियम विरुद्ध स्थानान्तरण कैसे कर देते हैं, आज समझ में आ गया, अभी दो माह पहले जब मैंने कुछ जुगाडूओं की प्रोफाईल देखी थी तो उनके एक्स श्रेणी के क्वालिटी पॉइंट काफी उच्च स्तर के थे, और वाई श्रेणी के जीरो आज जब फिर से प्रोफाईल खोली तो एक्स श्रेणी के क्वालिटी पॉइंट काफी नीचे आ चुके थे और प्रमोशन से पिछली पोस्टिंग जो कि वर्ष 2001 से जुलाई 2013 तक थे, सर्विस प्रोफाईल से ही गायब ही कर दिये गये ! यानि सुगम के 12 साल की सेवा ही गायब, यह किसी अजूबे से कम नहीं है ?
आपको विश्वास नहीं हुआ ना, ना हो लेकिन अगर हो भी गया तो आप भी क्या कर लोगो शिक्षक संघों के नेता ऐसे जुगाडुओं का विरोध नहीं करते, अगर कोई जागरुक व्यक्ति आवाज उठाएगा, तो नेताओं के प्यादे कभी संघ विरोधी तो कभी महिला विरोधी का तमगा देकर बदनाम करने की मुहीम चलायेगे ! हाँ, संघों के नेताजी स्थानान्तरण का विरोध करते हैं जब विभाग में समय पर स्थानान्तरण हो रहें हो तब !
यह बड़े ही अजूबे की बात है कि जिनके पास विभाग में जुगाड़ हो वे अपनी सर्विस प्रोफाईल में भी बड़ा गोलमाल करवा सकते हैं, इनके लिए अपनी पदोन्नत्ति करवाना, पदोन्नति उपरान्त दुर्गम की सेवा के क्वालिटी पोइंट जीरो होते हुए भी, सुगम से सुगम में स्थानान्तरण करवा लेना तो बहुत ही छोटा खेल है l आखिर अधिकारी भी तो ऐसे ही लोगो को बढ़ावा देने के लिए ही निदेशालय में बैठे है ? विस्वास नहीं होता ना, तो पूछो कुमाऊं मण्डल उपनिदेशक सुषमा सिंह और माध्यमिक शिक्षा निदेशक चन्द्र सिंह ग्वाल से ?
मित्रों आप भी अपनी सर्विस प्रोफाईल चेक करते रहें, कहीं किसी दिन ऐसा ना कि आपके पदस्थापन जगह पर किसी जुगाड़ वाले की निगाह हो और वह आपके क्वालिटी पॉइंट बढ़वा या घटवा कर आपको आपके तैनाती स्थल से ही रुखसत करवा दे, आजकल एक ऐसा गिरोह शिक्षा विभाग में भी सक्रिय है, जो कुछ भी कर सकता है....कुछ भी, निदेशक स्तर तक के अधिकारी इनकी जेब के दायें बायें होते है ! निदेशालय में बैठे अधिकारी भी इन्हें पल पल की खबर से फोन अवगत कराते रहते हैं कि वे कब क्या करने वाले हैं, आप समझ सकते हैं इस गिरोह के कनेक्शन कहाँ कहाँ तक है ?
सो ध्यान रहें, अपनी-अपनी सर्विस प्रोफाईल जांच ले, स्थानान्तरण का मौसम इस बार जल्दी आएगा ! जिसे प्रमाण चाहिए...मेसेज कर दें लिंक मेसेज पर मिल जाएगा.....
वैसे अब मेडम की फाईल तो तैयार हो ही गयी....
निदेशक माध्यमिक शिक्षा, उत्तराखण्ड, देहरादून के कार्यालय से सूचना अधिकार में प्राप्त दस्तावेजी सूचना के आधार पर फिर जुगाड़ तंत्र के बेहतर ढंग से सक्रिय होने की जानकारी आज पुख्ता हो गयी है !
निदेशालय में बैठे जुगाड़ तन्त्र को बढ़ावा देनें वाले अधिकारी किसी भी शिक्षक का नियम विरुद्ध स्थानान्तरण कैसे कर देते हैं, आज समझ में आ गया, अभी दो माह पहले जब मैंने कुछ जुगाडूओं की प्रोफाईल देखी थी तो उनके एक्स श्रेणी के क्वालिटी पॉइंट काफी उच्च स्तर के थे, और वाई श्रेणी के जीरो आज जब फिर से प्रोफाईल खोली तो एक्स श्रेणी के क्वालिटी पॉइंट काफी नीचे आ चुके थे और प्रमोशन से पिछली पोस्टिंग जो कि वर्ष 2001 से जुलाई 2013 तक थे, सर्विस प्रोफाईल से ही गायब ही कर दिये गये ! यानि सुगम के 12 साल की सेवा ही गायब, यह किसी अजूबे से कम नहीं है ?
आपको विश्वास नहीं हुआ ना, ना हो लेकिन अगर हो भी गया तो आप भी क्या कर लोगो शिक्षक संघों के नेता ऐसे जुगाडुओं का विरोध नहीं करते, अगर कोई जागरुक व्यक्ति आवाज उठाएगा, तो नेताओं के प्यादे कभी संघ विरोधी तो कभी महिला विरोधी का तमगा देकर बदनाम करने की मुहीम चलायेगे ! हाँ, संघों के नेताजी स्थानान्तरण का विरोध करते हैं जब विभाग में समय पर स्थानान्तरण हो रहें हो तब !
यह बड़े ही अजूबे की बात है कि जिनके पास विभाग में जुगाड़ हो वे अपनी सर्विस प्रोफाईल में भी बड़ा गोलमाल करवा सकते हैं, इनके लिए अपनी पदोन्नत्ति करवाना, पदोन्नति उपरान्त दुर्गम की सेवा के क्वालिटी पोइंट जीरो होते हुए भी, सुगम से सुगम में स्थानान्तरण करवा लेना तो बहुत ही छोटा खेल है l आखिर अधिकारी भी तो ऐसे ही लोगो को बढ़ावा देने के लिए ही निदेशालय में बैठे है ? विस्वास नहीं होता ना, तो पूछो कुमाऊं मण्डल उपनिदेशक सुषमा सिंह और माध्यमिक शिक्षा निदेशक चन्द्र सिंह ग्वाल से ?
मित्रों आप भी अपनी सर्विस प्रोफाईल चेक करते रहें, कहीं किसी दिन ऐसा ना कि आपके पदस्थापन जगह पर किसी जुगाड़ वाले की निगाह हो और वह आपके क्वालिटी पॉइंट बढ़वा या घटवा कर आपको आपके तैनाती स्थल से ही रुखसत करवा दे, आजकल एक ऐसा गिरोह शिक्षा विभाग में भी सक्रिय है, जो कुछ भी कर सकता है....कुछ भी, निदेशक स्तर तक के अधिकारी इनकी जेब के दायें बायें होते है ! निदेशालय में बैठे अधिकारी भी इन्हें पल पल की खबर से फोन अवगत कराते रहते हैं कि वे कब क्या करने वाले हैं, आप समझ सकते हैं इस गिरोह के कनेक्शन कहाँ कहाँ तक है ?
सो ध्यान रहें, अपनी-अपनी सर्विस प्रोफाईल जांच ले, स्थानान्तरण का मौसम इस बार जल्दी आएगा ! जिसे प्रमाण चाहिए...मेसेज कर दें लिंक मेसेज पर मिल जाएगा.....
वैसे अब मेडम की फाईल तो तैयार हो ही गयी....
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